-: प्रशासन का अर्थ :-
प्रशासन शब्द एडमिनिस्ट्रेशन शब्द लेटिन भाषा के Ad+Ministrare शब्दों से मिलकर बना है
जिसका अर्थ है लोगों की देखभाल करना
एक व्यक्ति के द्वारा दूसरे व्यक्ति की सेवा करना
प्रशासन का मूल अभिप्राय एक व्यक्ति द्वारा दूसरे व्यक्ति के हित की दृष्टिसे उसकी सेवा करना है
प्रशासन के दृष्टिकोण –
प्रशासन के दो दृष्टिकोणहै
एकीकृत दृष्टिकोण उच्चतम स्तर से लेकर निम्नतम स्तरतक के सभी कर्मचारी प्रशासन के अंग होते हैं
संकुचित दृष्टिकोण प्रबंधन का कार्य करने वाले व्यक्ति ही प्रशासन में संबंधित होते हैं
प्रशासन को सामान्य निम्न अर्थ में प्रयुक्त किया जाता है –
प्रशासन शब्द को सरकार अथवा कार्यपालिका का पर्यायवाचीसमझा जाता है
सामान्यता इसका अभिप्राय मंत्रीमंडल से होता है
प्रशासन को एक विज्ञान शाखा के रुप में स्वीकारकिया जाता है
इस के आधार पर किसी व्यापारिक, सामाजिक, अथवा राजनीतिक संस्था के प्रबंध का अध्ययन किया जाता है
सार्वजनिक नीति अथवा नीतियों को क्रियांवित करने वाली क्रियाओं के प्रयोग का नाम प्रशासन है
प्रशासन प्रबंध करने की कला है
इसका अर्थ है कि प्रशासन में हम वैज्ञानिक विधियों का प्रयोग करते हैं
प्रशासन के प्रमुख लक्षण –
प्रशासन को मनुष्य और भौतिक साधनों में इस प्रकार सामंजस्य करना चाहिए
जिससे मनुष्य की दैनिक जीवन की आवश्यकता की पूर्ति होती रहे
प्रशासन सामान्य लक्ष्यों और नीतियों का पूर्ण निर्धारणहै
प्रशासन में संगठित मानवीय सहयोगकी आवश्यकता है
प्रशासन मानवीय प्रयासों का उचित निर्देशन समायोजन और नियंत्रण है
प्रशासन समाज के परस्पर विरोधी तत्वों में मैत्रीपूर्ण संबंध स्थापित करता है
सम्पूर्ण समाज इसी सहयोगात्मक क्रिया के आधार पर टिका हुआ है
प्रशासन की लक्ष्य के प्रति उदासीनताकी भावना है
प्रशासन को सफल बनाने के लिए लक्ष्य के प्रति प्रशासन की उदासीनता को समाप्त करना आवश्यक है
लोक प्रशासन –
लोक प्रशासन दो शब्दों से मिलकर (लोक+प्रशासन) से बना है
“लोक” सार्वजनिकता का सूचक है
यह आम आदमी के लिए प्रशासन के द्वार खोलता है
अथार्थ जो प्रशासन आम लोगों के लिएहो उसे लोक प्रशासन कहते हैं
लोक प्रशासन सरकारी कार्यों के प्रशासनको कहा जाता है
लोक प्रशासन की क्रियाएं –
लोक प्रशासन में वे सभी क्रियाएँ सम्मिलित की जाती है
जिनका संबंध लोक नीति को लागूकरने से होता है
निजी प्रशासन –
निजी प्रशासन में विभिन्न व्यक्तियों,कंपनियों,व्यापारियों, संस्थानों,निगमोंद्वारा किए जाने वाले प्रशासन को शामिल किया जाता है
दूसरे शब्दों में गैर-सार्वजनिक प्रशासन तथा राज्य क्षेत्र के अधिकार के बाहर स्थित निजी संस्थानों के व्यक्तिगत प्रशासन को निजी प्रशासनकहते हैं
लोक प्रशासन और निजी प्रशासन की मध्य समानता के तत्व –
संगठन के समान आधार, समान प्रशिक्षण व्यवस्था, वित्तीय समानता, कर्मचारी वर्ग की समानता, जनसंपर्क की आवश्यकता और उत्तरदायित्वकी भावना कुछ ऐसे तत्व है
जो इन दोनों के मध्य समानता प्रकट करते हैं
लोक प्रशासन और निजी प्रशासन के मध्य अंतर करने वाले प्रमुख तत्व –
कार्यक्षेत्र के स्वरुप में अंतर, व्यवहार में समानता, लाभ प्राप्ति का उद्देश्य, एकाधिकारी प्रवति, राजनीतिक स्वरूप ,जनता के प्रति उत्तरदायित्व, सार्वजनिक संपर्क, ब्राहा वित्तीय नियंत्रण ,कानून व नियमों का प्रभाव, दक्षता ,प्रतिष्ठा, स्थिरता प्रशासन की इच्छा,का प्रतिनिधित्व
जैसे तत्वों के आधार पर दोनों के मध्य अंतर स्पष्टकिया जा सकता है
लोक प्रशासन में मानवीय तत्व –
लोक प्रशासन में मानवीय तत्व के दो रूपहै
पहला रूप प्रशासन और उसमें कार्यरत कर्मचारियों के मध्य संबंधका है
दूसरा रुप प्रशासन और जनता के मध्य संबंध का है